शामली। शामली के कांधला सीएचसी पर कोरोना वैक्सीनेशन कराने गईं 3 महिलाओं को एंटी रैबीज का इंजेक्शन लगाने के मामले में डीएम ने कार्रवाई की। डीएम के निर्देश पर सीएचसी में तैनात फार्मेसिस्ट को निलंबित किया गया है। साथ ही सीएचसी प्रभारी से 3 दिन के अन्दर स्पष्टीकरण मांगा हैं। डीएम जसजीत कौर ने कांधला सीएचसी पर वृद्ध महिलाओं को कोरोना वैक्सीन के बजाय एंटी रैबीज इंजेक्शन लगाए जाने की खबर का संज्ञान लेते हुए एसडीएम को कैराना एवं एसीएमओ शामली डॉ. अनिल कुमार को जांच सौंपी थी। दोनों अधिकारियों की जांच में पाया गया कि कांधला सीएचसी पर गुरुवार को तीन महिलाएं कोविड-19 की वैक्सीन लगवाने पहुंची थीं, जो भूलवश जनरल ओपीडी में चली गईं। वहां पर जो फार्मेसिस्ट था वह किसी कार्य से बाहर गया था और अपने स्थान पर एक प्राइवेट व्यक्ति जो जन औषधि केंद्र का फार्मेसिस्ट था उसको बैठा गया था।
उस प्राइवेट व्यक्ति द्वारा बिना कोई कागज देखे महिलाओं को एंटी रैबीज का इंजेक्शन लगा दिया गया। जांच रिपोर्ट के आधार पर डीएम ने संबंधित फार्मेसिस्ट को तत्काल सस्पेंड करने और जन औषधि केंद्र के प्राइवेट व्यक्ति की सेवा समाप्ति के निर्देश दिए। साथ ही लापरवाही बरतने पर चिकित्सा अधीक्षक सीएचसी कांधला से तीन दिन के अंदर स्पष्टीकरण देने को कहा है। डीएम जसजीत कौर के अनुसार कांधला सीएचसी प्रकरण में सीएचसी फार्मेसिस्ट को तत्काल निलंबित करते हुए सीएचसी अधीक्षक को चेतावनी देने तथा प्राइवेट फार्मेसिस्ट की भी सेवा समाप्ति के निर्देश दिए गए हैं। नगर के सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र पर कोरोना का टीका लगवाने के लिए गई मोहल्ला सरावज्ञान निवासी सरोज(70) पत्नी स्वर्गीय जगदीश, नगर के रेलवे मंडी निवासी अनारकली(72) व सत्यवती (60) को वहां मौजूद कर्मचारियों ने कोरोना वैक्सीन की जगह एंटी रैबीज का इंजेक्शन लगा दिया था। इसके बाद महिला सरोज की हालत बिगड़ जाने पर मामले का खुलासा हुआ तो हड़कंप मच गया। बाद मे तीनों महिलाओं के परिजनों ने मामले की शिकायत उच्चाधिकारियों से करते हुए कार्यवाही की मांग की थी।

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