विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) ने शुक्रवार को कहा है कि यदि कोरोना वायरस की दूसरी लहर आई तो लाखों लोगों की जान जा सकती है। WHO के असिस्टेंट डायरेक्टर जनरल रनीरी गुएरा ने स्पेनिश फ्लू का उल्लेख करते हुए कहा कि तब महामारी सितंबर-अक्टूबर के ठंडे मौसम में बढ़ गई थी। इटली के RAI टीवी से बात करते हुए रनीरी गुएरा ने कहा कि लगभग 100 वर्ष पूर्व आए स्पेनिश फ्लू की दूसरी लहर में करोड़ों लोगों की जान गई थी।
उन्होंने कहा कि स्पेनिश फ्लू भी कोरोना वायरस की तरह ही बर्ताव कर रहा था। तब भी गर्मियों में मामले घट गए थे, किन्तु बाद में बढ़ गए।इससे पहले यूरोपियन सेंट्रल बैंक के चीफ क्रिस्टीन लगार्डे ने शुक्रवार को कहा था कि यदि हमने 1918-19 के स्पेनिश फ्लू से कुछ भी सीखा है तो निश्चित रूप से कोरोना की दूसरी लहर आ सकती है। इससे पहले कुछ अध्ययन में ये बात सामने आई थी कि ज्यादा गर्मी में कोरोना वायरस का प्रसार धीमा हो जाता है, किन्तु ये इतना कम नहीं होता कि संक्रमण रुक जाए।
वहीं, महामारी रोग विशेषज्ञों का कहना है कि महामारी की दूसरी लहर को लेकर कोई निर्धारित परिभाषा नहीं है। आपको बता दें कि अब तक पूरी दुनिया में कोरोना के 97.7 लाख मामलों की पुष्टि हो चुकी है। जबकि दुनियाभर में 4.9 लाख लोग कोरोना वायरस की वजह से जान गँवा चुके हैं।