स्थानीय लोगों की ओर से केंद्र शासित जम्मू-कश्मीर में जमीन, रोजगार, सामाजिक मान्यताओं और पहचान को सुनिश्चित बनाने के लिए किए जा रहे आग्रह को तवज्जो मिल सकती है। केंद्रीय गृह मंत्रालय जम्मू-कश्मीर में अनुच्छेद 371 को लागू करने पर गंभीरता से विचार कर रहा है। गृह मंत्रालय ने इस संदर्भ में जम्मू-कश्मीर के कानून विभाग को एक विस्तृत प्रस्ताव भेजकर उसकी राय मांगी है।

अनुच्छेद 370 के सभी प्रावधानों को किया समाप्त
दो केंद्र शासित राज्यों में जम्मू कश्मीर को पुनर्गठित करने के साथ ही केंद्र सरकार ने अनुच्छेद 370 के उन सभी प्रावधानों को भी समाप्त कर दिया था, जिनके तहत पुराने जम्मू-कश्मीर राज्य को विशेष अधिकार प्राप्त थे। पुनर्गठन से पहले जम्मू-कश्मीर में कोई भी अन्य राज्य का व्यक्ति स्थायी तौर पर यहां बस नहीं सकता था और न जमीन खरीद सकता था। वह राज्य सरकार के अधीनस्थ विभागों में नौकरी भी प्राप्त नहीं कर सकता था। अब केंद्र शासित जम्मू-कश्मीर में यह पाबंदियां समाप्त हो गई हैं। जम्मू-कश्मीर के पुनर्गठन का विरोध कर रहे राजनीतिक दल लोगों में यह संदेश देने का प्रयास कर रहे हैं कि अब बाहरी लोग आकर यहां नौकरियों, जमीनों पर कब्जा कर लेंगे। इससे स्थानीय लोगों की पहचान मिट जाएगी।

जम्मू कश्मीर की स्थिति
इस मामले को लेकर संबंधित प्रशासनिक अधिकारियों ने बताया कि गृह मंत्रालय के प्रस्ताव के बाद राज्य के कानून विभाग ने संबंधित विभागों, कानूनी जानकारों और अन्य पक्षों के साथ इस मुद्दे पर विचार- विमर्श भी शुरू कर दिया है। उन्होंने बताया कि अनुच्छेद 370 को भंग किए जाने के बाद जम्मू कश्मीर में जिस तरह की स्थिति उपजी है और लोगों में अपने अधिकारों को लेकर जो संशय और डर पैदा हुआ है, उसे दूर करने के लिए ही केंद्र सरकार ने यह कदम उठाया है। जल्द ही इस बारे में केंद्र को रिपोर्ट दे दी जाएगी।

Previous articleमहाराष्ट्र में आये भूकंप के झटके, तीव्रता 3.9
Next articleभारतीय मूल के इस अमेरिकी सांसद को चुना गया परमाणु अप्रसार उप-समिति का अध्यक्ष

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here