चंडीगढ़। पंजाब के पूर्व मंत्री नवजोत सिंह सिद्धू की सीएम कैप्टन से नाराजगी सर्वविदित ऐसे में वह ट्विटर पर एक के बाद एक सरकार विरोधी बयान दे रहे है इसको लेकर कांग्रेस सांसद मनीष तिवारी ने तीखा हमला बोला है। दिल्ली में तिवारी ने कहा कि कांग्रेस एकजुट है और पंजाब में मजबूती से चुनाव लड़ेगी लेकिन किसी के पास कोई एजेंडा है और वह ट्विटर या अन्य माध्यम से चलाना चाहता है तो कांग्रेस आलाकमान को गंभीरता से लेना चाहिए। उन्होंने कहा कि पंजाब में कोई राजनीतिक संकट नहीं है। 1966 में पंजाब पुनर्गठन के बाद कोई ऐसी राजनीतिक पार्टी नहीं है जिसे 77 सीटें मिली हों। यह केवल कै। अमरेंद्र सिंह के नेतृत्व में ही संभव हो पाया है। कांग्रेस ने उपचुनावों में फतेह हासिल की और 13 में से 8 लोकसभा सीटों पर विजय पताका फहराई। 8 लोकसभा सीटों से विजयी सांसदों के प्रचार का अहम जिम्मा खुद सीएम अमरेंद्र ने ही संभाला था। हाल ही में हुए निकाय और पंचायत चुनाव में 95-96 फीसदी चुनाव कांग्रेस ने जीता इसलिए जहां तक पार्टी का सवाल है कांग्रेस अखंड, सशक्त और पूरी मजबूती के साथ चुनाव लड़ेगी।
इससे पहले सांसद रवनीत बिट्टू, प्रताप सिंह बाजवा, गुरजीत सिंह औजला भी सिद्धू को सरकार विरोधी बयानबाजी पर अंकुश लगाने की नसीहत दे चुके हैं। दिल्ली में सोनिया गांधी के साथ मुख्यमंत्री कै। अमरेंद्र सिंह की मुलाकात से पहले बातचीत में सांसद रवनीत बिट्टू ने यहां तक कह दिया था कि पार्टी के खिलाफ बोलना अनुशासनहीनता के दायरे में आता है और ऐसे लोगों के लिए पार्टी में कोई जगह नहीं है। बिट्टू ने तो सिद्धू को नसीहत देते हुए यह भी कह दिया था कि जिन्हें पार्टी पसंद नहीं है, वे पार्टी को छोड़ सकते हैं।

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