नई दिल्ली। उल्टा चोर, कोतवाल को डांटे, यह कहावत तो सुनी ही होगी। भारत का पड़ोसी देश चीन अब इस कहावत को सच करता दिख रहा है। दरअसल, कोरोना वायरस कहां से पैदा हुआ, यह पता लगाने के लिए चीन के लैबों की जांच की मांग तेज हो गई है। इससे बौखलाकर चीन ने अब उल्टे अमेरिकी पर ही हमला बोला है और विश्व स्वास्थ्य संगठन से मांग की है कि वह उसके लैब की बजाय यूएस के मिलिटरी बेस फोर्ट डेट्रिक की जांच करे। चीन के विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता झाओ लिजियान ने कहा, ‘अगर लैब की जांच की जानी है, तो डब्लूएचओ एक्सपर्ट्स को फोर्ट डेट्रिक जाना चाहिए।’ झाओ लिजियान का बयान इस दावे को लेकर आया है कि कोरोना वायरस एक लैब से निकला और फिर इंसानों में आकर पूरी दुनिया में फैल गया। चूंकि, चीन के वुहान में सबसे पहला कोरोना केस रिपोर्ट हुआ था, इसलिए यह शहर शक के दायरे में सबसे पहले आया है। हालांकि, चीन लगातार इस दावे को खारिज करता रहा है और उसने अब कहा है कि लैब लीक थियोरी के समर्थकों को अमेरिकी बायोलॉजिकल लैब की जांच करनी चाहिए। झाओ ने कहा, अमेरिका को पारदर्शी और जिम्मेदाराना तरीके से काम करना चाहिए और डब्लूएचओ के एक्सपर्ट्स को अपनी फोर्ट ड्रेट्रिक लैब की जांच के लिए आमंत्रित करना चाहिए। सिर्फ इसी तरह से दुनिया के सामने सच आ सकता है।’

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