नई दिल्ली। एअर इंडिया की एक फ्लाइट यात्रियों का सामान लिये बगैर ही उड़ गई। इस मामले में अब केंद्रीय विमानन मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया ने एयरलाइंस से रिपोर्ट मांगी है। जानकारी के मुताबिक बीते 29 अगस्त को इस प्लाइट ने शिकागो (यूएस) के लिए नई दिल्ली स्थित इंदिरा गांधी अंतरराष्ट्रीय हवाईअड्डे से उड़ान भरी थी। लेकिन इस विमान में बैठे करीब 40 यात्रियों का सामान विमान में रखा ही नहीं गया। एक यात्री ने बताया कि उनका सामान शिकागो तक नहीं पहुंचा क्योंकि, एअर इंडिया ने विमान में सामान लोड ही नहीं किया था। एआई 127 दिल्ली-शिकागो विमान, बिना 40 यात्रियों का सामान लिये ही लैंड कर गई। इस मामले में एक ट्विटर यूजर ने केंद्रीय विमानन मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया को टैग करते हुए लिखा कि ‘सोचिए इस मुश्किल घड़ी में इस विमान के यात्रियों की हालत कैसी रही होगी।’ ट्वीट पर नजर पड़ते ही केंद्रीय मंत्री भी एक्शन में आ गए। उन्होंने इस मामले को बेहद ही गंभीरता से लेते हुए एयरलाइंस को शिकायत की जांच का आदेश दे दिया। केंद्रीय मंत्री ने ट्वीट कर कहा कि ‘एअर इंडिया, कृप्या कर जांच करें और जवाब दें।’ इसके बाद एअर इंडिया को शिकायत की जानकारी मिली और एक यात्रियों का सामान नहीं पहुंचने के मामले में जांच भी शुरू हो गई। एअर इंडिया ने ट्वीट कर कहा है कि ‘हम अपनी शिकागो बैगेज टीम के साथ इस मामले की जांच कर रहे हैं आखिर कैसे यात्रियों का सामान छूट गया।’ महामारी में कहीं यात्रा करना एक बड़ा टास्क है। इसलिए हम हाथ में ज्यादा भारी सामान लेकर यात्रा नहीं कर सकते। इसलिए हम अपना सामान पैक कर देते हैं। लेकिन एअर इंडिया की फ्लाइट हमें शिकागो ले आई बिना सामान के, शिकागो में मुझे काफी मुश्किलों का सामना करना पड़ रहा है क्योंकि सभी चीजें मेरे बैग में थीं। यहां तक कि मेरे कॉलेज के डॉक्यूमेंट भी बैंग में हीं थे और दैनिक उपयोग के सामान भी उसी में रखे हुए थे।’ दिल्ली में रहने वाले एक यात्री के रिश्तेदार ने कहा कि ‘इस महामारी में जो 14 घंटे से ज्यादा का सफर कर रहे हैं, जरा सोचिए इस वक्त बिना अपने सामान के उनकी हालत कैसी रही होगी।’ बहरहाल अब इस पूरे मामले में एअर इंडिया की जांच टीम ने शुरुआती रिपोर्ट तैयार कर ली है। इस रिपोर्ट में जांच टीम की तरफ से बताया गया है कि लंबी दूरी की वजह से कुछ पे-लोड प्रतिबंध थीं और इसी वजह से कुछ य़ात्रियों का सामान विमान में लोड नहीं किया जा सका। यात्रियों तक उनका सामान पहुंचाने की सभी कोशिशें की जा रही हैं।