जवाहर लाल नेहरू यूनिवर्सिटी (JNU) में रविवार शाम को हुई हिंसा को लेकर आज अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद (ABVP) ने अपनी प्रतिक्रिया दी है। ABVP का कहना है कि रविवार शाम को हुई हिंसा में हमारा कोई भी स्टूडेंट शामिल नहीं था। ABVP ने कहा है कि वामपंथियों ने प्रोयजित तरीके से हिंसा की। विद्यार्थी परिषद ने कहा कि JNU हिंसा में जामिया के भी कुछ लोग संलिप्त हैं।

ABVP का इल्जाम है कि वामपंथी छात्र संगठन आईसा (AISA) के सतीश चंद यादव ने भीड़ को भड़काया, और डंडों से छात्रों की धुनाई की। वामपंथी छात्र निरंतर JNU में गतिरोध बनाए हुए थे। उन्होंने रजिस्ट्रेशन करवा रहे स्टूडेंट्स के हाथों से फार्म छीनकर फाड़ दिए। बता दें कि JNU में हुई हिंसा के बाद एक के बाद एक मामले की परतें खुल रही हैं। सूत्रों के अनुसार, जेएनयू में एबीवीपी और लेफ्ट विंग के छात्रों के बीच बीते 2-3 दिनों से तनाव जारी था किन्तु जब लेफ्ट विंग के छात्रों ने पंजीकरण के सर्वर को डैमेज किया तो तनाव और अधिक बढ़ गया।

उसके बाद छात्रों के बीच विवाद हुआ। पेरियार होस्टल पर कल लगभग 4 बजे के बाद मामला बढ़ता चला गया। अंदर लगभग 10 पुलिसकर्मी सादी वर्दी में थे। उनके साथ भी हाथापाई हुई। इसकी PCR कॉल भी हुई थी। सूत्रों के अनुसार, उसके बाद कुछ वॉट्स एप ग्रुप बनाये गए और बदला लेने की योजना बनाई। फिर बाहर से नकाबपोश लोग आए। उनको कोड वर्ड दिया गया जिसके माध्यम से हमलवार अपने लोगों की पहचान कर पाएं और उन्हें न पीटें।

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