शिवसेना के मुखपत्र ‘सामना’ के एक लेख में अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप की भारत यात्रा को लेकर केंद्र पर जमकर हमला बोला गया है। संपादकीय में कहा गया है कि गुलाम भारत में जब इंग्लैंड के राजा या रानी आते थे, तो लोगों के पैसों से उनके स्वागत की जैसी तैयारी होती थी उसी तरह की तैयारी ट्रंप के लिए भी की जा रही है।

संपादकीय में कहा गया है कि अमेरिका के राष्ट्रपति यानि ‘बादशाह’ अगले हफ्ते भारत दौरे पर आने वाले हैं, इसलिए अपने देश में जोरदार तैयारी चल रही है। ‘बादशाह’ ट्रंप क्या खाते हैं, क्या पीते हैं, उनके गद्दे-बिछौने, टेबल, कुर्सी, उनका बाथरूम, उनके पलंग, छत के झूमर कैसे होंगे, इस पर केंद्र सरकार मीटिंग, सलाह-मशविरा करते हुए नज़र आ रही है। गुलाम हिंदुस्तान में इंग्लैंड के राजा या रानी आते थे, तब उनके स्वागत की इसी तरह की ही तैयारी की जाती थी और जनता की तिजोरी से बड़ा खर्च किया जाता था। डोनाल्ड ट्रंप के बारे में भी यही हो रहा है।

संपादकीय में कहा गया है कि, ‘ट्रंप कोई विश्व के ‘धर्मराज’ या ‘मि. सत्यवादी’ निश्चित ही नहीं हैं। वे एक अमीर, उद्योगपति और पूंजीपति हैं और हमारे यहां जिस प्रकार से बड़े उद्योगपति सियासत में आते हैं या पैसों के जोर पर सियासत को मुट्ठी में रखते हैं, ऐसे ही विचार ट्रंप के भी हैं। ‘मौका पड़े तो गधे को भी बाप कहना पड़ता है। यह दुनिया की रीत है।

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