मदरलैंड संवाददाता, पटना
हमें राशन चाहिए- भाषण नहीं,
सलाह निर्देश और आश्वासन के बावजूद पूरा वेतन क्यों नहीं? और सलाह निर्देश और आश्वासन के बावजूद मेरी नौकरी क्यों चली गई जैसे नारों की तख्तियां लिए विभिन्न जन संगठनों के देशव्यापी आह्वान पर किसान मजदूर छात्र नौजवान महिलाएं आज अपने-अपने घरों के दरवाजों पर खड़े होकर प्रदर्शन किया। नेताओं ने कहा सरकार के निर्देशों के बावजूद छँटनी और वेतन भुगतान न करने वाले नियोक्ताओं की पहचान कर आवश्यक कार्रवाई की जाए और अगले 3 महीने तक आयकर नहीं देने वाले सभी परिवारों के बैंक खातों में न्यूनतम 7500 रू. या नकद हस्तांतरण सुनिश्चित किया जाए। जरूरतमंदों को भोजन और अन्य बुनियादी आवश्यकताओं की उपलब्धता सुनिश्चित करते हुए श्रमिकों के हित को ध्यान में रखते हुए काम को 12 घंटे तक बढ़ाने के लिए कारखानों अधिनियम में संशोधन तथा स्थाई समिति के पास लंबित तीन श्रम संस्थाओं को लागू करने के किसी भी पहल को तुरंत रोका जाए और स्वास्थ्य डॉक्टर और अन्य फ्रंटलाइन कर्मचारियों के लिए पर्याप्त सुरक्षात्मक उपकरणों की उपलब्धता सुनिश्चित किया जाए।