मदरलैंड संवाददाता, पटना
वैश्विक महामारी का रूप ले चुके कोरोना का हमला अभी तक चौतरफा जारी है। कोरोना के शुरुआती दौर में बढ़ते संक्रमण के खिलाफ मुख्यमंत्री फंड में विधायकों से क्षेत्रीय विकास योजना का पैसा जमा हुआ था। अब कोरोना फंड में जमा हुए पैसे पर सियासत धीरे-धीरे बढ़ती जा रही है। इस मुद्दे को राजद के भाई बिरेंद्र ने भी पहले से उठाते आ रहे हैं। वह हमेशा मुखर होकर बोले थे कि कोरोना घोटाला होगा। लेकिन इस सब के बीच किशनगंज जिले के बहादुरगंज विधानसभा क्षेत्र के कांग्रेस विधायक तौसीफ आलम ने मुख्यमंत्री नीतीश कुमार को पत्र लिखकर मुख्यमंत्री राहत कोष में दी गई अपनी राशि वापस मांगी है।
विधायक ने कहा है कि लॉक डॉउन के दौरान आम लोगों की मदद के लिए राज्य सरकार द्वारा किए गए कार्य से वे संतुष्ट नहीं है। कांग्रेस विधायक तौसीफ आलम ने कहा कि उनके विधानसभा क्षेत्र में सैनिटाइजर, मास्क, साबुन, सूखा राशन जैसी चीजें नहीं बँटी तो पैसा देने का मतलब ही क्या रहा? विधायक ने कहा कि दूसरे राज्यों में फंसे बहादुरगंज विधानसभा क्षेत्र के 90 फीसदी मजदूरों को कोई सहायता नहीं मिल पाई है जो खेद जनक है। इसलिए बिहार सरकार से सहायता राशि में दिए गए 50 लाख रुपए वापस करने की मांग मुख्यमंत्री को पत्र लिखकर की है।
बहरहाल विधायक की यह चिट्ठी फिलहाल चर्चा में है। अब इस चिट्ठी का असर बिहार की राजनीति में क्या होता है यह देखना दिलचस्प रहेगा।