नई दिल्ली। कोरोना संक्रमण के फैलाव के स्तर का पता लगाने के लिए राजधानी दिल्ली में सीरो सर्वे का दूसरा चरण शुरू होगा। स्वास्थ्य विभाग के दिशा-निर्देशों पर 100 से ज्यादा टीमें 20 हजार से अधिक लोगों के ब्लड सैंपल लेगी। यह सर्वे 1 अगस्त से 5 अगस्त के बीच किया जाएगा। दिल्ली में अब कितने फीसदी लोगों में कोरोना संक्रमण के खिलाफ एंटीबॉडी बन गई है। साथ ही यह भी पता लगाया जाएगा कि क्या राजधानी हर्ड इम्युनिटी की ओर बढ़ रही है या नहीं।
स्वास्थ्य विभाग के एक अधिकारी ने बताया कि सर्वे के परिणाम 15 अगस्त तक आने की संभावना है। जिन लोगों के सैंपल पहले सर्वे में लिए गए थे, इस बार उनके सैंपल नहीं लिए जाएंगे। अभी सर्वे को लेकर दिशा-निर्देश मिलने बाकी है। किस जिले से कितने सैंपल लिए जाने हैं। ये वहां की आबादी के हिसाब से तय किया जाएगा। हर जिले से औसतन 2 हजार सैंपल लेने की कोशिश की जाएगी। सीरोलॉजी टेस्ट में उन लोगों को ही शामिल किया जाएगा, जिनमें कोई लक्षण नहीं हैं। इसमें अलग-अलग उम्र व इलाके के लोगों के बल्ड सैंपल लिए जाएंगे। सर्वे से यह पता लगेगा है कि संक्रमण कम्युनिटी में अब कितना फैला है। क्या पहले के मुकाबले अब अधिक लोगों में कोरोना के खिलाफ एंटीबॉडी बन गई है। यह सर्वे नोडल अधिकारी की; देखरेख में किया जाएगा। सभी इलाकों में आशा और आंगनवाड़ी कार्यकर्ता लोगों से उनके विषय में जानकारी लेंगी और उनके ब्लड सैंपल लिए जाएंगे। एक तरह का रैंडम सर्वे होगा।
इससे पहले 27 जून से 10 जुलाई के बीच सीरो सर्वे किया था, जिसमें राजधानी के करीब 23 प्रतिशत लोग कोविड-19 से प्रभावित मिले थे। यानी,एक चौथाई लोगों में एंटीबॉडी विकसित होने की बात सामने आई थी। वे संक्रमित हुए और ठीक हो गए। जिन लोगों के नमूने लिए गए थे, उनमें से अधिकतर लोगों को नहीं पता था कि वे संक्रमित थे। दिल्ली सरकार ने फैसला किया था कि लोगों में एंटीब़ॉडी का स्तर पता लगाने के लिए अब हर महीने सीरो सर्वे होगा। इससे पता चल सकेगा कि अब कितने फीसदी लोगों में संक्रमण के खिलाफ एंटीबॉडी बन रही है। साथ ही यह भी देखा जाएगा कि दिल्ली हर्ड इम्युनिटी की तरफ कितना बढ़ रही है।

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