एक साल में 1200 मीट्रिक टन माल पहुंचा
भोपाल। राजधानी में राजा भोज एयरपोर्ट पर डोमेस्टिक कार्गो टर्मिनल की स्थापना होते ही माल की आवक तेजी से बढ़ी है। अब चंद मिनटों में ही ई-कामर्स कंपनियों को सामान की डिलेवरी मिलने लगी है। कोरोना संकट के बावजूद एक साल में यहां 1200 मीट्रिक टन माल की आवक हुई है। ई-कॉमर्स कंपनियां इलेक्ट्रॉनिक सामान, मोबाइल, महंगे फल, ऑटोमोबाइल उपकरण, जीवनरक्षक दवाएं विमान से मंगाने लगी हैं। कंपनियों को जरूरी सामान की डिलेवरी कुछ मिनटों में ही मिल रही है। टर्मिनल पर फिलहाल एयर इंडिया एवं इंडिगो के स्टोरेज रूम हैं। अगले एक साल में कुछ नई एयरलाइन कंपनियां भोपाल में दस्तक दे सकती हैं।
टर्मिनल का संचालन एयरपोर्ट अथॉरिटी की सहायक
ऐसे में कार्गो की आवक-जावक बढ़ सकती है। टर्मिनल का संचालन एयरपोर्ट अथॉरिटी की सहायक कंपनी एयर कार्गो लॉजिस्टिक एंड अलाइड सर्विस कंपनी (आइक्लास) करती है। मालूम हो कि पिछले साल जनवरी माह तक विमान से सामान मंगाने के लिए विभिन्न कंपनियों को इंदौर के भरोसे रहना पड़ता था। डाक पार्सल एवं दवाओं के छोटे पार्सल के अलावा भोपाल में कुछ भी सामान विमान से नहीं आता था। एयरपोर्ट अथॉरिटी ने डोमेस्टिक कार्गो टर्मिनल की स्थापना के लिए राज्य शासन से जमीन की मांग की। जमीन मिलने में विलंब हुआ तो अथॉरिटी ने अपने बंद पड़े पुराने एयरपोर्ट भवन के एक हिस्से में ही टर्मिनल बना दिया। पिछले साल फरवरी माह में इसका सादे समारोह में लोकार्पण किया गया था।
कार्गो टर्मिनल का लोकार्पण होने के कुछ समय बाद ही देश में कोरोना
भविष्य में बड़ा टर्मिनल बनाने की योजना है। कार्गो टर्मिनल का लोकार्पण होने के कुछ समय बाद ही देश में कोरोना संकट शुरू हो गया। काफी समय तक उड़ान संचालन बंद रहा लेकिन कार्गो टर्मिनल बंद नहीं हुआ। कोरोना काल में भी एयर इंडिया के लाइफ लाइन विमानों से जरूरी दवाओं की आवक जारी रही। उड़ानों की संख्या बढ़ने के साथ ही कार्गो टर्मिनल की रौनक बढ़ रही है। एयरपोर्ट अथॉरिटी ने एक साल पूरा होने पर केक काटकर सालगिरह मनाई। इस बारे में एयरपोर्ट डायरेक्टर अनिल विक्रम का कहना है कि डोमेस्टिक कार्गो टर्मिनल के शुभारंभ के कुछ दिन बाद ही कोरोना संकट शुरू हो गया था इसके बावजूद सामान की आवक संतोषजनक है। भोपाल से माल भेजने की गति कम है लेकिन हमें उम्मीद है कि इसमें भी बढ़ोतरी होगी।
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