नई दिल्ली। विमानन मंत्रालय ने क्षेत्रीय हवाई संपर्क योजना के तहत 392 मार्गों के लिए बोलियां मांगी हैं। इस योजना का उददेश्य घरेलू हवाई संपर्क में सुधार करना और विमान यात्रा को सस्ता बनाना है। उड़ान योजना के इस साल चार वर्ष पूरे हो रहे हैं। अभी तक इस योजना के तहत 325 मार्ग और 56 हवाईअड्डे परिचालन में हैं। केंद्र सरकार के आजादी का अमृत महोत्सव की शुरुआत के मौके पर उड़ान 4.1 बोली प्रक्रिया के तहत करीब 392 मार्गों का प्रस्ताव किया गया है। रविवार को कहा गया है कि उड़ान 4.1 के तहत छोटे हवाईअड्डों को जोड़ने के साथ विशेष हेलिकॉप्टर और सीप्लेन मार्गों पर ध्यान दिया जाएगा। इसके अलावा बंदरगाह, पोत परिवहन एवं जलमार्ग मंत्रालय के साथ विचार-विमर्श में सागरमाला सीप्लेन सेवाओं के तहत कुछ नए मार्गों का भी प्रस्ताव किया गया है। ताजा बोली प्रक्रिया छह सप्ताह में पूरी होने की उम्मीद है। मंत्रालय ने कहा कि छोटे शहरों और हवाई पट्टियों को जोड़ने के लिए एयरलाइंस को परिचालन में कुछ लचीलापन उपलब्ध कराया जाएगा। ताजा दौर में गैर-अनुसूचित परिचालक परमिट (एनएसओपी) के तहत सीप्लेन, फिक्स्ड विंग विमान और हेलिकॉप्टर के परिचालन की भी अनुमित दी जाएगी। नागर विमानन मंत्रालय में संयुक्त सचिव उषा पाधी ने कहा कि विशेष उड़ान 4.1 बोली दौर में प्राथमिकता वाले मार्गों के लिए बोलियां मांगी गई हैं। ये मार्ग अभी तक उड़ान के तहत नहीं आते हैं।

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